बिहार में बाढ़ पीड़ित लोगों की तत्काल सहायता के लिए जन समुदाय से अपील
ऑक्सफाम इंडिया (Oxfam India) के नई दिल्ली कार्यालय ने, सोमवार, १ सितम्बर २००८ को, बिहार में बाढ़ पीड़ित लोगों के बाचाव और उनको राहत पहुँचाने हेतु, जन समुदाय से सहयोग की अपील की है। इस अपील के द्वारा जो भी सहायता राशि इकठ्ठी की जायेगी उसका व्यय बिहार में बाढ़ पीड़ित लोगों के लिए पुनर्वास केन्द्र बनाने में, उनको नियमित खाद्यान प्रदान करने में तथा उनको साफ़ और सुरक्षित पीने का पानी उपलब्ध कराने में किया जायेगा।
ऑक्सफाम इंडिया अपने कई स्थानीय सहयोगी संस्थाओं के साथ १८ अगस्त २००८ से नेपाल की सीमा से लगे बिहार के ६ पूर्वोत्तर जिलों में इस राहत कार्य को करती आ रही है। यह जिले इस साल बिहार में बाढ़ द्वारा सबसे ज्यादा प्रभावित हुए हैं और कोसी नदी से करीब ३ किलोमीटर की दूरी पर हैं। इस साल की बाढ़ ने पूर्वोत्तर बिहार के करीब १६ जिलों में ३० लाख लोगों को प्रभावित किया है। भारत के प्रधानमंत्री श्री मनमोहन सिंह ने भी इस बार की बाढ़ को राष्ट्रीय आपदा घोषित कर दिया है। ऑक्सफाम सौपाल जिले में बाढ़ में फँसे आशय बच्चों, महिलाओं और आदमियों को सुरक्षित स्थान पर पहुँचाने हेतु 'मोटरबोट' या मोटर द्वारा चालित नाविका का सहारा ले रही है। बाढ़ पीड़ित समुदाय के रहने हेतु पतले पाल की भी सहायता प्रदान कर रही है साथ ही साथ पानी शुद्धिकरण कीट, बाल्टी और जीवन रक्षक घोल इत्यादि की भी व्यवस्था कर रही है।
ऑक्सफाम इण्डिया में कार्यरत कर्मचारी बिहार के दो स्थानीय संस्थाओं - बिहार सेवा समिति और अभिज्ञान दिशा - तथा कुछ स्वयंसेवी व्यक्तियों के साथ राहत और बचाव का काम कर रही है।
ऑक्सफाम इण्डिया की मुख्या कार्यकारी अधिकारी सुश्री निशा अग्रवाल का कहना है कि ऑक्सफाम, बाढ़ से सौपाल जिले के सबसे ज्यादा प्रभावित दो विकास खंडों - बसंतपुर और प्रतापगंज - के २०,००० लोगों को सहायता पहुँचाने की तैयारी कर रही है। निशा अग्रवाल का आगे कहना है कि 'हम लोग बाढ़ पीड़ित लोगों को अस्थाई पुनर्वास केन्द्र, सुरक्षित खाद्य पदार्थों के वितरण और साफ़ पीने योग्य पानी को उपलब्ध करवाने के लिए प्रयासरत हैं। बाढ़ से सबसे ज्यादा प्रभावित हुए बच्चे और महिलाएँ खुले आसमान के नीचे रह रहे हैं। ऐसी महिलाएँ जो कि गर्भवती हैं या फिर जिन्होंने अभी जल्दी ही बच्चे को जन्म दिया है, इनको तक सुरक्षित और साफ़ पीने का पानी नहीं मिल रहा है। बाढ़ के बाद पानी द्वारा उत्त्पन्न होने वाले रोगों को भी रोकना अत्यन्त आवश्यक है। हाल ही में बाढ़ पीड़ित इलाकों की वास्तविक स्थिति को जानने हेतु ऑक्सफाम द्वारा एक दस्ता भेजा गया था जिसके द्वारा यह सुझाया गया है कि बाढ़ पीड़ित लोगों को पुनर्वास केन्द्रों, खाद्य पदार्थों और प्राथमिक चिकित्सा की तुंरत आवश्यकता है। ऑक्सफाम इंडिया कई सहायक संस्थाओं और राज्य सरकार के साथ मिलकर यह काम कर रही है जिससे कि राहत सामग्री वास्तव में सही तरीके से जरूरतमंद लोगों तक पहुँचाई जा सके।
जन समुदाय इन बाढ़ पीडितों को अपना सहयोग देने के लिए इन दूरभाष (फ़ोन) नंबरों पर संपर्क कर सकते हैं: + ९१ ११ ४६५३८००० । वह लोग जो अपना आर्थिक सहयोग 'चेक' द्वारा देना चाहते हैं कृपया इस पते और नाम पर 'चेक' भेजें: ऑक्सफाम ट्रस्ट, पता- ऑक्सफाम इंडिया, प्लाट नम्बर १, दूसरी मंजिल, सुजान महिंदर अस्पताल, न्यू फ्रेंड्स कालोनी, नई दिल्ली - ११००६५। वेबसाइट: (www.oxfam.org )
२००० रूपये का अनुदान एक परिवार को पुनर्वास केन्द्र प्रदान कर सकता है। ८५० रूपये के अनुदान से ५ परिवारों को साफ़- सफाई का कीट दिया जा सकता है तथा १००० रूपये के अनुदान से २ परिवारों के लिए साफ़ शोचालय बनाया जा सकता है।
सहायता राशि को देने हेतु अधिक जानकारी के लिए कृपया निम्न पते पर संपर्क करें:
पामेला श्रीवास्तव ( अनुदान के लिए) + ९१ ११ ४६५३८०००, आदिति कपूर ( प्रेस से सम्बंधित जानकारी के लिए) + ९१ ११ ४६५३८०००, ९८१०३०६२००, ईमेल aditi@oxfamindia.org; akapoor@oxfam.org.uk
माननीय संपादकों के लिए नोट:
ऑक्सफाम इंडिया एक भारतीय संस्थान है जो कि ऑक्सफाम इंटरनेशनल के परिवार का इक बड़ा हिस्सा है। ऑक्सफाम इंडिया का अपना अलग से समिति या 'बोर्ड' भी है जिसमें भारतीय लोग हैं। ऑक्सफाम इंडिया भारत में सन १९५२ से काम कर रही है जब बिहार में भयानक सूखा पड़ा था। ऑक्सफाम इंडिया समानता और न्याय में विश्वास रखती है और उन लोगों को समानता और अधिकार दिलाने के लिए काम कर रही है जो सामाज में दबे कुचले वर्ग से हैं।